कौशल विकास और पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन

 

 

नरेन्द्र सहारण कैथल, सरकारी आरोही मॉडल स्कूल, ग्योंग कैथल के शिक्षकों ने नेहरू हाउस के 50 छात्रों के लिए कौशल विकास और पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता और प्रेरणा कार्यक्रम का आयोजन किया। यह कार्यक्रम प्रधानाचार्य डॉ. मनीष सिंघला के मार्गदर्शन में आयोजित किया गया, जिसमें छात्रों को विभिन्न महत्वपूर्ण विषयों पर जागरूक किया गया।

 

इस अवसर पर सुनीता सहारण, दिनेश, मनीषा, श्री अरुण, प्रदीप और संजीव जैसे प्रतिष्ठित शिक्षक उपस्थित थे। सुनीता सहारण (पीजीटी बायोलॉजी) ने छात्रों को पर्यावरण संरक्षण के महत्व के बारे में विस्तार से बताया और उन्हें पर्यावरण के प्रति संवेदनशील बनाने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने बताया कि किस प्रकार छोटे-छोटे कदम उठाकर हम पर्यावरण की रक्षा कर सकते हैं और अपने भविष्य को सुरक्षित बना सकते हैं।

 

अरुण सर (पीजीटी गणित) ने छात्रों को वैदिक गणित की विशेषताओं और इसके लाभों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि वैदिक गणित न केवल गणितीय समस्याओं को सरल और त्वरित तरीके से हल करने में मदद करता है, बल्कि यह छात्रों की तार्किक क्षमता को भी बढ़ाता है। छात्रों ने इस विषय में विशेष रुचि दिखाई और अरुण सर के द्वारा प्रस्तुत उदाहरणों से लाभान्वित हुए।

 

संजीव (कंप्यूटर शिक्षक) ने वर्तमान युग में सूचना प्रौद्योगिकी के कौशल के महत्व के बारे में छात्रों को जागरूक किया। उन्होंने बताया कि आज के डिजिटल युग में कंप्यूटर और आईटी कौशल का ज्ञान होना कितना महत्वपूर्ण है। संजीव ने छात्रों को विभिन्न आईटी कौशलों के बारे में बताया और उन्हें इस क्षेत्र में संभावनाओं के बारे में प्रेरित किया।

 

इस कार्यक्रम का उद्देश्य छात्रों को उनके कौशल में सुधार करने और पर्यावरण के प्रति जागरूक बनाने पर केंद्रित था। विभिन्न गतिविधियों और सत्रों के माध्यम से छात्रों को न केवल उनके शैक्षिक कौशल में सुधार करने के लिए प्रेरित किया गया, बल्कि उन्हें पर्यावरण संरक्षण के महत्व के बारे में भी जागरूक किया गया। छात्रों ने इस कार्यक्रम में उत्साहपूर्वक भाग लिया और इससे प्राप्त ज्ञान को अपने जीवन में अपनाने का संकल्प लिया।

 

प्रधानाचार्य डॉ. मनीष सिंघला ने कार्यक्रम के अंत में सभी शिक्षकों और छात्रों का धन्यवाद किया और इस प्रकार के जागरूकता कार्यक्रमों की महत्ता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि ऐसे कार्यक्रम छात्रों के समग्र विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं और उन्हें एक जिम्मेदार नागरिक बनने के लिए प्रेरित करते हैं।

 

 

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