Surya Grahan 2024 Date Time in india: साल का पहला सूर्य ग्रहण कब, जानें भारत में इसका सूतक काल मान्य होगा या नहीं

नई दिल्ली, बीएनएम न्यूजः Surya Grahan 2024 Date Time in india: 8 अप्रैल, सोमवार चैत्र अमावस्या पर साल का पहला सूर्य ग्रहण लगने जा रहा है। यह पूर्ण सूर्य ग्रहण होगा जिसे खग्रास सूर्य ग्रहण भी कहा जाता है। विज्ञान के मुताबिक, सूर्य ग्रहण हो या चंद्रग्रहण ये एक आम खगोलीय घटना होती है। लेकिन, ज्योतिष के अनुसार, इसका प्रभाव आम व्यक्ति के जीवन पर पड़ता है। यह सूर्य ग्रहण मीन राशि और रेवती नक्षत्र में लगने जा रहा है। सूर्य ग्रहण तब लगता है जब चंद्रमा पृथ्वी और सूर्य के बीच में आ जाता है, जिससे सूर्य की दृष्टि पूरी तरह या आंशिक रूप से अवरुद्ध हो जाती है।

सूर्य ग्रहण की अवधि (Solar Eclipse 2024 Timings)

भारतीय समयानुसार, सूर्य ग्रहण 8 अप्रैल को रात 9 बजकर 12 मिनट से शुरू हो जाएगा और इसका समापन रात 1 बजकर 20 मिनट पर होगा। हालांकि, यह सूर्य ग्रहण भारत में दृश्यमान नहीं होगा। सूर्य ग्रहण की अवधि 05 घंटे 10 मिनट की होगी।

सूर्य ग्रहण कहां कहां दिखेगा? (when and where to watch solar eclipse?)

यह सूर्य ग्रहण भारत में नहीं दिखेगा। कनाडा, उत्तरी अमेरिका, मैक्सिको में दिखाई देगा. इसके अलावा कोस्टा रिका, क्यूबा, डोमिनिका, फ्रेंच पोलिनेशिया, जमैका, आयरलैंड, इंग्लैंड के उत्तर पश्चिम क्षेत्र, पश्चिमी यूरोप, पेसिफिक, अटलांटिक, आर्कटिक में ये ग्रहण दिखेगा।

क्या भारत में इसका सूतक काल मान्य होगा (Sutak kaal in India or not)

यह ग्रहण भारत में दृश्यमान नहीं होगा। इसलिए, इसका सूतक काल भारत में मान्य नहीं होगा. यानी कि इस ग्रहण का देश दुनिया पर भौतिक प्रभाव, आध्यात्मिक प्रभाव, सूतक का प्रभाव या किसी प्रकार का धार्मिक प्रभाव नहीं पड़ने वाला है। इस ग्रहण के दौरान भारत में रहने वाले सभी लोगों के लिए सामान्य दिनचर्या होगी। शास्त्रों की मानें तो ग्रहण जहां लगता है और जहां दिखता है वहीं इसका प्रभाव भी पड़ता है।

54 साल बाद सबसे लंबा सूर्य ग्रहण (Longest solar eclipse after 54 years)

इस साल का पहला सूर्य ग्रहण अपने आप में ही खास माना जा रहा है। 8 अप्रैल को लगने वाला पूर्ण सूर्य ग्रहण होगा और ये काफी लंबा सूर्य ग्रहण माना जा रहा है। इस दिन सूर्य लगभग 4.29 मिनट तक ढका रहेगा, जिसका संयोग पूरे 54 साल बाद बना है। हालांकि, यह ग्रहण भारत में दृश्यमान नहीं होगा। बल्कि, कनाडा, उत्तरी अमेरिका, मैक्सिको में दिखाई देगा। इस पूर्ण सूर्य ग्रहण की शुरुआत दक्षिण प्रशांत महासागर से होगी। इससे पहले इस तरह का सूर्य ग्रहण वर्ष 1970 में दिखा था और अगली बार साल 2078 में दिखेगा।

कब लगता है सूर्य ग्रहण (What is solar eclipse)

जब पृथ्वी, सूर्य तथा चंद्रमा एक सीधी रेखा में होते हैं, इसके कारण पृथ्वी के एक भाग पर पूरी तरह से अंधेरा छा जाता है, तब पूर्ण सूर्य ग्रहण की स्थिति बनती है।

सूर्य ग्रहण के दौरान क्या न करें (Surya Grahan Dont’s)

1. सूर्य के दौरान किसी सुनसान जगह, श्मशान पर अकेले नही जाना चाहिए। दरअसल, इस दौरान नकारात्मक शक्तियां हावी रहती है।

2. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, ग्रहण के समय सोना नहीं चाहिए और ना सूई में धागा नहीं लगाना चाहिए।

3. इसके अलावा ग्रहण के दौरान यात्रा करने से भी बचना चाहिए और शारीरिक संबंध बनाना भी मना होता है।

सूर्य ग्रहण के दौरान क्या करें (Surya Grahan Dos)

1. सूर्य ग्रहण के बाद गंगाजल से स्नान करें। पूरे घर और देवी देवताओं को शुद्ध करें।

2. ग्रहण के दौरान सीधे सूर्य को देखने से बचना चाहिए।

3. ग्रहण के दौरान बाहर जाने से बचें। साथ ही ध्यान रखें कि आप कोई गलत काम न करें।

4. ग्रहण के बाद हनुमान जी की उपासना करें।

सूर्य ग्रहण के दौरान क्यों होता है खाना पीना वर्जित?

धार्मिक शास्त्रों में बताया गया है कि सूर्य ग्रहण के दौरान कुछ भी नहीं खाना चाहिए। स्कंद पुराण में भी उल्लेखित है कि सूर्य ग्रहण के दौरान भोजन करने से सेहत पर गलत असर पड़ता है। यह भी बताया गया है कि सूर्य ग्रहण के समय भोजन करने से सारे पुण्य और कर्म नष्ट हो जाते हैं।

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