Kaithal News : कैथल में चिकन खाने गए पांच युवकों पर हमला: डंडे से पीटकर एक को किया बेसुध, दुकानदार ने मांगे उधार के पैसे

नरेंद्र सहारण, कैथल : Kaithal News : हरियाणा के कैथल जिले के बाबा लदाना गांव में सोमवार को एक नाटकीय और हिंसक घटना ने पूरे इलाके को हिला कर रख दिया। इस घटना में चार युवकों ने एक दुकान में चिकन खाने के दौरान हुए विवाद को लेकर हमला कर दिया, जिसमें एक युवक बेसुध होकर जमीन पर गिर गया। इस हिंसक घटना के पीछे का कारण उधार का पैसा मांगने से जुड़ा था जिसने धीरे-धीरे गंभीर रूप ले लिया। इस पूरी घटना का वीडियो और प्रत्यक्षदर्शियों के बयान अब पुलिस के सामने हैं और पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। यह मामला न केवल उस क्षेत्र के लिए चिंता का विषय है बल्कि समाज में बढ़ती हिंसा और आपसी विवादों के प्रति भी सावधानी बरतने की आवश्यकता को उजागर करता है।

घटना का संक्षिप्त परिचय

बाबा लदाना गांव के निवासी गोबिंदा ने अपनी शिकायत में बताया कि 6 जून को वह और उसके दोस्त सुमित, प्रदीप, गोलू, विशाल, और सनी स्थानीय चिकन की दुकान पर गए थे। यह दुकान गांव के एक प्रसिद्ध खाद्य स्थल के रूप में जानी जाती है, जहां लोग अक्सर खाने-पीने के लिए आते हैं। इस बार भी ये युवक अपने पारंपरिक मित्र मंडल के साथ भोजन का आनंद लेने गए थे। पारस नामक दुकान के मालिक और उसके पिता सुभाष पहले से ही इस समूह के परिचित थे। इन युवकों का यहाँ से उधार का खाता भी चलता था, यानी वे अक्सर इस दुकान से खाना खाकर भुगतान बाद में करते थे। यह पारंपरिक व्यापारी-ग्राहक संबंध कई बार विवाद का कारण भी बनते रहे हैं।

घटना का क्रम और विवाद का कारण

6 जून को ये युवक अपने भोजन का आनंद ले रहे थे, और जैसे ही वे भोजन समाप्त कर वापस जाने लगे, दुकान के मालिक पारस और उसके पिता सुभाष ने उनके पैसे मांगे। इस समूह ने कहा कि वे उधार का पैसा अगले दो दिनों में चुका देंगे, और इस बात पर दोनों पक्षों के बीच सामान्य बातचीत शुरू हुई।

हालांकि, कुछ ही देर में यह मामला तकरार में बदल गया। पारस और उसके पिता ने युवकगण को गाली-गलौज व अपशब्द कहने लगे। बात बढ़ने लगी और दोनों पक्षों के बीच गरमागरम बहस छिड़ गई।

आरोपियों का आक्रामक रुख और हमला

 

बातचीत बढ़ते-बढ़ते मारपीट में बदल गई। आरोप है कि पारस, उसके पिता सुभाष, रजत और काला जो घटना के वक्त दुकान के पास मौजूद थे, हाथों में डंडे लेकर अचानक उनके रास्ते में आ गए। उन्होंने इन युवकों पर हमला बोल दिया। यह हमला इतनी अचानक और हिंसक था कि सुमित, प्रदीप और अन्य साथी डरकर भागने लगे। इस दौरान गोबिंदा पर भी हमला किया गया, और वह जमीन पर गिर गया। आरोप है कि उस समय आरोपी युवकों ने उसको डंडों से बेरहमी से पीटा, जिससे वह बेसुध होकर गिर पड़ा। यह हमला न केवल शारीरिक चोट का कारण बना बल्कि उसकी आत्मा को भी झकझोर गया। घटना के दौरान, आरोपियों ने युवक को जान से मारने की धमकी भी दी और फिर मौके से भाग गए।

पीड़ित का बयान और पुलिस में शिकायत

घटना के बाद पीड़ित गोबिंदा ने सदर थाना में शिकायत दर्ज कराई। उसने कहा कि घटना के वक्त वह पूरी तरह से भयभीत था। उसने बताया कि वह और उसके दोस्त चिकन खाने के बाद वापस घर लौट रहे थे, तभी अचानक आरोपियों ने हमला कर दिया। शिकायत में उसने आरोपियों पर हमला, जान से मारने की धमकी, और धमकाकर भाग जाने का मामला दर्ज करने की मांग की। उसने यह भी जानकारी दी कि आरोपियों ने पहले से ही उनके ऊपर उधार के पैसे को लेकर झगड़ा किया था, जो इस घटना का मुख्य कारण था। पुलिस ने इस शिकायत के आधार पर मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है।

पुलिस की कार्रवाई और जांच का दौर

 

पुलिस अधीक्षक कार्यालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार, सदर थाना के जांच अधिकारी प्रदीप कुमार ने कहा कि आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि मामले की बारीकी से जांच की जा रही है और आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी जारी है। पुलिस ने घटना स्थल का निरीक्षण किया, वीडियो फुटेज खंगाले और पीड़ित व गवाहों के बयान दर्ज किए हैं। साथ ही, आरोपियों की पहचान के लिए गांव में तलाशी अभियान भी चलाया जा रहा है।

मामले की गंभीरता और समाज में संदेश

यह घटना एक बार फिर यह दर्शाती है कि छोटी-छोटी बातों को स्पष्ट करने का सही तरीका अपनाना जरूरी है। उधार के पैसे को लेकर विवाद यदि सही तरीके से हल न किया जाए तो परिणाम हिंसक भी हो सकते हैं। समाज में हिंसा और आपसी विवाद की घटनाएं न केवल व्यक्तिगत जीवन को प्रभावित करती हैं बल्कि पूरे समुदाय की सुरक्षा और शांति पर भी खतरा बन जाती हैं। इस संदर्भ में पुलिस और प्रशासन को चाहिए कि वे ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई करें और लोगों में शांतिपूर्ण संवाद का संदेश फैलाएं।

संबंधित मुद्दे और सुझाव

 

उधार का व्यापार और विवाद समाधान: जब भी किसी व्यापारी या ग्राहक का उधार का खाता चलता हो, तो उसकी व्यवस्था को स्पष्ट और लिखित किया जाना चाहिए ताकि भविष्य में विवाद न हो।

शांतिपूर्ण विवाद समाधान: विवाद के समय स्थानीय पंचायत या सामुदायिक नेताओं का सहारा लिया जाना चाहिए। किसी भी घटना को हिंसा का रूप लेने से पहले ही रोकना आवश्यक है।

गांव-गांव में जागरूकता अभियान: समाज में आपसी समझदारी और संपर्क मजबूत करने के लिए जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाने चाहिए।

पुलिस का त्वरित कदम: ऐसी घटनाओं में पुलिस को तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए और पीड़ितों को सुरक्षा प्रदान करनी चाहिए।

आगे की दिशा और उम्मीदें

 

अभी यह मामला जांच के अधीन है। पुलिस आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए प्रयास कर रही है और साथ ही पीड़ितों को उचित मुआवजा और सुरक्षा का भरोसा भी दिलाया गया है। इस तरह की घटना से समाज को सीख लेनी चाहिए कि आपसी विवादों को संवाद और समझदारी से सुलझाना ही बेहतर उपाय है। हिंसा किसी भी समस्या का समाधान नहीं है। सरकार, पुलिस और समाज सभी को मिलकर ऐसे मामलों को रोकने के प्रयास करने चाहिए।

हिंसक झड़प

 

बाबा लदाना गांव में 6 जून को हुई इस हिंसक घटना ने यह दिखाया कि छोटे-मोटे विवाद भी बड़ी हिंसा का रूप ले सकते हैं। उधार का पैसा विवाद का कारण बना और यह विवाद हिंसक झड़प में बदल गया, जिसमें एक युवक गंभीर रूप से घायल हो गया। पुलिस ने मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है, और उम्मीद है कि आरोपियों को जल्द ही गिरफ्तार किया जाएगा। यह घटना समाज के लिए एक चेतावनी भी है कि आपसी समझदारी और शांति से ही विवादों का समाधान संभव है। हमें चाहिए कि हम अपने गांव, मोहल्लों और समाज में शांति और सौहार्द्र का माहौल बनाएं, तभी हम सुरक्षित और खुशहाल जीवन जी सकते हैं।

 

 

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