Assembly Election Results 2023 : MP, राजस्थान, तेलंगाना और छत्तीसगढ़ में किसके सिर पर सजेगा ताज, देशभर की निगाहें
नई दिल्ली, बीएनएम न्यूज। लोकसभा चुनाव से ऐन पहले हुए पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों (Assembly Election Results 2023) पर देशभर की नजरें हैं। इनमें से चार राज्यों में सत्ता का ताज किसके सिर सजेगा, यह रविवार को परिणाम आने के साथ साफ हो जाएगा, जबकि मिजोरम की मतगणना चार दिसंबर को होगी। मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में भाजपा व कांग्रेस के बीच कड़ा मुकाबला है, जबकि तेलंगाना में हैट्रिक की राह देख रही भारत राष्ट्र समिति के के. चंद्रशेखर राव की राह में कांग्रेस चुनौती पेश करती नजर आ रही है। वर्तमान में राजस्थान और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सत्तासीन है तो मध्य प्रदेश में भाजपा का शासन है। इन विधानसभा चुनावों के नतीजों को अगले साल होने वाले आम चुनाव से पहले सेमीफाइनल मुकाबले के रूप में देखा जा रहा है।
भाजपा और कांग्रेस पूरी ताकत झोंकी
मध्य प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना में वोटों की गिनती रविवार को सुबह आठ बजे से शुरू होगी और देर शाम तक स्थिति स्पष्ट हो जाएगी कि किस राज्य में किसके पक्ष में जनादेश रहा है। मध्य प्रदेश में कुल 230 विधानसभा सीटें हैं। राज्य में करीब 18 वर्ष से सत्तासीन भाजपा को परास्त करने के लिए कांग्रेस ने पूरी ताकत झोंकी है। करीबी मुकाबले में उसे सफलता 2018 के विधानसभा चुनाव में भी मिल गई थी, जब कांग्रेस को 114 सीटें मिली थीं और भाजपा 109 पर ही पहुंची थी, लेकिन लगभग डेढ़ वर्ष बाद ही ज्योतिरादित्य सिंधिया की बगावत ने फिर से भाजपा की झोली में सत्ता डाल दी थी। हालांकि, इस बार अधिकतर एजेंसियों के एक्जिट पोल भाजपा के पक्ष में ही नजर आ रहे हैं।
राजस्थान रहेगा कड़ा मुकाबला
ऐसे ही कड़ा मुकाबला राजस्थान की 199 विधानसभा सीटों के लिए नजर आ रहा है। यहां भाजपा को हर पांच वर्ष में सत्ता परिवर्तन के राजनीतिक रिवाज पर विश्वास है तो कांग्रेस के अशोक गहलोत को उम्मीद है कि अपनी नीतियों के बलबूते वह इस रिवाज को मिथक साबित कर फिर सत्ता में लौटेंगे। 2018 के चुनाव में कांग्रेस को 100 सीटें मिली थीं, जबकि भाजपा 73 पर सिमट गई थी। एक्जिट पोल के अनुमान से बेशक भाजपा नेताओं के चेहरे खिलाए हुए हैं, लेकिन कांग्रेस को अपनी नीति-रणनीति पर विश्वास है।
छत्तीसगढ़ में एक्जिट पोल कर रहे कांग्रेस बढ़त का इशारा
उधर, छत्तीसगढ़ में कुल 90 विधानसभा सीटें हैं। इस राज्य में भाजपा ने लगातार पंद्रह वर्ष तक राज किया, लेकिन 2018 में कांग्रेस ने 68 सीटों पर विजय प्राप्त कर भाजपा की रमन सिंह सरकार को सत्ता से बेदखल कर दिया था। पिछले चुनाव में भाजपा को सिर्फ 15 सीटें मिली थीं। एक्जिट पोल इस बार भी कांग्रेस को बढ़त का इशारा कर रहे हैं। हालांकि, भाजपा के रणनीतिकारों को भरोसा है कि मुकाबला कांटे का है और जीत उनकी होगी।
तेलंगाना में केसीआर को चुनौती देती नजर आ रही कांग्रेस
वहीं, तेलंगाना के चुनाव परिणामों को लेकर कांग्रेस खासी उत्साहित है। यहां केसीआर ने लगातार तीसरी बार सत्ता में वापसी के लिए पसीना बहाया है तो राह में चुनौती बनकर कांग्रेस खड़ी है। दक्षिण के इस महत्वपूर्ण राज्य में लंबे समय से वापसी के लिए राह देख रही कांग्रेस को एक्जिट पोल के अनुमानों ने उम्मीदों की हरी झंडी दिखाई है। हालांकि, मतदाताओं को आकर्षित करने में वह कितनी सफल रही और यहां अपना प्रभाव रखने वाले एआइएमआइएम के असदुद्दीन ओवैसी की रणनीति कितनी कारगर रही, यह रविवार को चुनाव परिणामों से साफ हो जाएगा।
4 को आएंगे मिजोरम के नतीजे
इन चार राज्यों के साथ मिजोरम के लिए भी मतदान हुआ, लेकिन उसके परिणाम के लिए निर्वाचन आयोग ने अलग तिथि निर्धारित की है। मिजोरम की 40 विधानसभा सीटों पर वोटों की गिनती चार दिसंबर को होगी। यहां सत्ता के लिए मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ), जोरम पीपुल्स मूवमेंट और कांग्रेस के बीच संघर्ष है। 2018 के विधानसभा चुनाव में 26 सीटें जीतकर एमएनएफ सत्ता पर काबिज हुई थी।
राज्यों में बढ़ीं दिग्गज नेताओं की गतिविधियां
मतगणना से पहले इन चुनावी राज्यों में दलों और नेताओं की गतिविधियां भी अचानक बढ़ गई हैं। भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा शुक्रवार को ही मध्य प्रदेश के ग्वालियर पहुंच गए। वहां उन्होंने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह सहित नरेन्द्र सिंह तोमर, ज्योतिरादित्य सिंधिया और नरोत्तम मिश्रा जैसे वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठकें कीं। मध्य प्रदेश के चुनाव प्रभारी भूपेंद्र यादव भी दुबई से लौटकर सीधे वहां पहुंच गए हैं। वहीं, राजस्थान में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने गत दिवस राज्यपाल कलराज मिश्र से राजभवन जाकर भेंट-वार्ता की। इसे लेकर भी तमाम अटकलें लगाई जा रही हैं।
मतगणना से पहले ईश्वर की शरण में नेता
नेता मतगणना से पहले ईश्वर की शरण में भी हैं। राज्य के वरिष्ठ नेताओं के साथ जेपी नड्डा ने मध्य प्रदेश के दतिया में पीताम्बरा पीठ व मुरैना स्थित शनिचरा मंदिर में दर्शन-पूजन किया तो वसुंधरा राजे मेंहदीपुर बालाजी दर्शनों को पहुंचीं।