Kaithal News: टीबी के मरीजों को दी जाने वाले राशि को बढ़ाया, अच्छी डाइट से जल्द ठीक होने की बढ़ेगी संभावना

नरेन्द्र सहारण, कैथल। Kaithal News: स्वास्थ्य विभाग ने निक्षय पोषण योजना के तहत टीबी (क्षय रोग) के मरीजों को दी जाने वाली आर्थिक सहायता को बढ़ा दिया है। अब टीबी के मरीजों को हर महीने 500 रुपये की जगह 1,000 रुपये पौष्टिक आहार के लिए दिए जाएंगे। यह नया आदेश एक नवंबर से लागू हो गया है। सरकार का मानना है कि इससे टीबी के मरीजों को बेहतर आहार मिलेगा, जिससे उनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ेगी और स्वस्थ होने की प्रक्रिया में तेजी आएगी।
जिले में टीबी की स्थिति
इस समय जिले में करीब 750 टीबी के मरीजों का इलाज चल रहा है। टीबी के मरीजों के ठीक होने में औसतन छह महीने का समय लगता है। अब तक सरकार इन मरीजों को हर महीने 500 रुपये की सहायता राशि प्रदान कर रही थी, जो अब 1,000 रुपये कर दी गई है। यह धनराशि सीधे मरीजों के खाते में जमा की जाती है ताकि वे इससे पौष्टिक आहार खरीद सकें। विभाग के अनुसार, अच्छी डाइट से मरीजों के ठीक होने की संभावना बढ़ जाएगी। इसके अलावा, जिले की 20 टीबी-मुक्त ग्राम पंचायतों को भी हाल ही में सम्मानित किया गया है।
टीबी: एक घातक बीमारी
टीबी एक संक्रामक रोग है, जो मुख्य रूप से फेफड़ों को प्रभावित करता है और हवा के जरिए एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकता है। इसके मुख्य लक्षणों में दो सप्ताह से अधिक खांसी, रात में पसीना आना, वजन कम होना, बुखार, थकावट, सांस लेने में कठिनाई, और ठंड में भी पसीना आना शामिल हैं। अगर टीबी का सही समय पर इलाज न किया जाए या मरीज बीच में इलाज छोड़ दे, तो यह बीमारी और गंभीर हो सकती है। टीबी के इलाज में औसतन छह महीने का समय लगता है और इसमें मरीज को नियमित दवाइयां दी जाती हैं। अगर मरीज दवाइयों का सेवन बीच में छोड़ता है, तो बीमारी का उपचार फिर से शुरू करना पड़ता है।
निक्षय पोषण योजना का महत्व
निक्षय पोषण योजना के तहत टीबी के मरीजों को पौष्टिक आहार के लिए हर माह आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। अब इस सहायता राशि को बढ़ाकर 1,000 रुपये कर दिया गया है ताकि मरीज पोषण के अभाव में कमजोरी न महसूस करें और दवाइयों का असर उनके शरीर पर बेहतर तरीके से हो। इस योजना का उद्देश्य मरीजों को आहार में सुधार कर रोग से उबरने में मदद करना है। साथ ही, स्वास्थ्य विभाग द्वारा नियमित रूप से टीबी के प्रति लोगों को जागरूक करने के कार्यक्रम भी आयोजित किए जाते हैं, जिससे बीमारी के प्रति सतर्कता बढ़ाई जा सके।
टीबी के मरीजों के लिए दवा की खुराक
टीबी के मरीजों को वजन के आधार पर दवा की खुराक दी जाती है, जिसे निम्नलिखित प्रकार से विभाजित किया गया है:
25-34 किलो वजन के मरीज को रोजाना दो टैबलेट दी जाती हैं।
35-49 किलो वजन के मरीज को तीन टैबलेट दी जाती हैं।
50-64 किलो वजन के मरीज के लिए चार टैबलेट की खुराक निर्धारित है।
65-75 किलो के मरीज को पांच टैबलेट दी जाती हैं।
75 किलो से अधिक वजन वाले मरीजों के लिए छह टैबलेट की खुराक होती है।
जिला सिविल सर्जन ने कहा
कैथल की जिला सिविल सर्जन डॉ. रेनू चावला के अनुसार सरकार की इस पहल से मरीजों के उपचार में बड़ा सुधार होगा। स्वास्थ्य विभाग मरीजों को बीमारी के प्रति जागरूक करने के लिए भी नियमित कार्यक्रम आयोजित करता रहता है ताकि लोग टीबी के लक्षणों को पहचानकर समय पर इलाज करवा सकें। टीबी से ठीक होने के लिए आहार और नियमित दवाई के साथ-साथ मरीजों का आत्मबल भी मजबूत होना आवश्यक है।
इस प्रकार निक्षय पोषण योजना में इस बढ़ोतरी से टीबी के मरीजों को न सिर्फ आहार संबंधी सहायता मिलेगी, बल्कि उनकी रिकवरी की प्रक्रिया में भी तेजी आएगी।
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