हिंदुओं को ईदगाह मस्जिद सौंपने की याचिका खारिज, सुप्रीम कोर्ट ने कही यह बात
नई दिल्ली, एजेंसी। Mathura Shahi Edgah: मथुरा की शाही ईदगाह मस्जिद को हटाकर उसे हिंदुओं को सौंपे जाने की मांग वाली एक जनहित याचिका को शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया। इस दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मामले में कई सूट अदालतों में लंबित है. लिहाजा सुनवाई की जरूरत नहीं है। ये याचिका उन याचिकाओं से अलग दाखिल की गई थी, जिसपर हाईकोर्ट पहले से सुनवाई कर रहा था। याचिका में मांग की गई थी कि जिस जगह ईदगाह मस्जिद है, वहीं श्रीकृष्ण का जन्मस्थान है। कोर्ट उस जगह पर हिंदुओं के पूजा-अर्चना का अधिकार सुनिश्चित करें.
इस मसले पर पहले से ही मुकदमे कोर्ट के सामने पेंडिंग
वहीं इससे पहले इलाहाबाद हाई कोर्ट ने ये कहते हुए याचिका को खारिज कर दिया था कि इस मसले पर पहले से ही मुकदमे कोर्ट के सामने पेंडिंग है, जिनमें इन मुद्दों को उठाया गया है। लिहाजा इस पर अलग से सुनवाई की जरूरत नहीं है। याचिकाकर्ता वकील ने इसी आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस दीपांकर दत्ता की पीठ के समक्ष सुनवाई की गई।
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने याचिका कर दी थी खारिज
अक्टूबर, 2023 में इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा याचिका खारिज करने के बाद वकील माहेश्वरी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाई थी। उन्होंने विवादित स्थल को हिंदू भगवान कृष्ण के वास्तविक जन्मस्थान के रूप में मान्यता देने की मांग की थी और कृष्ण जन्मभूमि जन्मस्थान के लिए एक ट्रस्ट की स्थापना के लिए जमीन हिंदुओं को सौंपने का आग्रह किया था।
इसे सामान्य मुकदमे के रूप में दर्ज कराएं
याचिका में यह भी दावा किया गया था कि यह स्थल इस्लाम से पहले का है और अतीत में विवादित भूमि के संबंध में किए गए समझौतों की वैधता पर सवाल उठाया था। सुनवाई के दौरान जस्टिस खन्ना ने कहा कि जनहित याचिका की जरूरत नहीं है क्योंकि एक ही मुद्दे पर कई सिविल मुकदमे पहले से लंबित हैं। इसे याचिका के रूप में दायर किया, इसलिए इसे खारिज कर दिया है। इसे सामान्य मुकदमे के रूप में दर्ज कराएं, हम देखेंगे।