Sandeshkhali Incident: राष्ट्रीय महिला आयोग प्रमुख ने कहा, पश्चिम बंगाल में राष्ट्रपति शासन के अलावा कोई उपाय नहीं
कोलकाता, BNM News: राष्ट्रीय महिला आयोग (एनसीडब्ल्यू) की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने सोमवार को बंगाल सरकार पर संदेशखाली में बड़ी संख्या में महिलाओं की आवाज दबाने का आरोप लगाया, जहां सत्तारूढ़ टीएमसी नेताओं के कथित अत्याचार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया गया था। उन्होंने कहा कि मौजूदा परिस्थिति के मद्देनजर राज्य में राष्ट्रपति शासन के अलावा कोई उपाय नहीं है।
दिन के दौरान उन्होंने क्षेत्र में आयोग के एक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया और कहा कि उनकी यात्रा वहां की महिलाओं में आत्मविश्वास पैदा करने के लिए थी ताकि उनमें से कई बाहर आएं और अपने मन की बात कहना शुरू करें। एनसीडब्ल्यू अध्यक्ष ने कहा कि अगर तृणमूल कांग्रेस नेता शाहजहां शेख को गिरफ्तार कर लिया जाएगा, तो मेरा मानना है कि अधिक महिलाएं अपनी शिकायतों के साथ सामने आएंगी। उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखाली में बड़ी संख्या में महिलाओं ने शाहजहां शेख और उसके समर्थकों पर जबरदस्ती जमीन हड़पने और यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया है।
पांच जनवरी को राशन घोटाले के सिलसिले में उसके परिसर की तलाशी लेने गए ईडी के अधिकारियों पर उसके समर्थकों ने हमला कर दिया था। एनसीडब्ल्यू अध्यक्ष ने यह भी आरोप लगाया कि न तो जिला मजिस्ट्रेट और न ही पुलिस अधीक्षक उनसे मिलने के लिए वहां मौजूद थे। प्रशासन और पुलिस महिलाओं की शिकायतें नहीं सुन रहे हैंं। केवल एक महिला ने सामने आकर मजिस्ट्रेट के सामने अपना बयान दर्ज कराया है। शर्मा ने कहा कि हम पीडि़तों से बात करना चाहते हैं और फिर बंगाल के राज्यपाल और फिर नई दिल्ली में राष्ट्रपति से मिलेंगे। इधर टीएमसी ने एनसीडब्ल्यू की यात्रा को राजनीति से प्रेरित करार दिया। टीएमसी प्रवक्ता कुणाल घोष ने कहा कि एनसीडब्ल्यू बंगाल का दौरा करने में तत्पर है। लेकिन उसने भाजपा शासित राज्यों का दौरा करने में इतनी तत्परता कभी नहीं दिखाई।
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