UP Police पेपर लीक मामले का मास्टरमाइंड STF के हत्थे चढ़ा, प्रिंटिंग प्रेस से ऐसे आउट हुआ था क्वेश्चन पेपर

लखनऊ, BNM News: यूपी पुलिस पेपर लीक मामले में (UP Police Paper Leak) मामले में एसटीएफ ने मुख्य आरोपी अरुण कुमार सिंह को गिरफ्तार कर लिया है। अरुण पेपर लीक केस का मास्टरमाइंड बताया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार, प्रिंटिंग प्रेस के नेटवर्क से सिपाही भर्ती परीक्षा का पेपर लीक हुआ था। इस मामले में एसटीएफ पहले ही तीन आरोपियों की गिरफ्तार कर चुकी है, जिसके बाद अब अरुण को दबोचा गया है।
बता दें कि यूपी पुलिस सिपाही भर्ती परीक्षा 17 और 18 फरवरी 2024 को आयोजित की गई थी, लेकिन पेपर लीक की खबर की पुष्टि होने पर इस परीक्षा को निरस्त कर दिया गया। इसके बाद जांच के लिए एसटीएफ को लगाया गया, जिसने जगह-जगह छापेमारी की। हाल ही में राजीव उर्फ राहुल मिश्रा समेत दो लोगों को एसटीएफ ने पकड़ा था। ये लोग अरुण के करीबी हैं। इसके बाद अब मुख्य आरोपी अरुण कुमार सिंह को भी गिरफ्तार कर लिया गया।
एसटीएफ की टीमें पकड़े गए दोनों आरोपियों से पूछताछ के बाद कई और लोगों की गिरफ्तारी में दबिश दे रही हैं। बताया जा रहा है कि प्रिंटिंग प्रेस के नेटवर्क से यूपी पुलिस सिपाही भर्ती परीक्षा का पेपर लीक हुआ था। प्रिंटिंग प्रेस से निकलने के बाद क्वेश्चन पेपर को ट्रांसपोर्ट करने वाली कंपनी के द्वारा सॉल्वर के पास पहुंचाया गया था।
पेपर लीक होने के बाद पुलिस भर्ती व प्रोन्नति बोर्ड की DG रेणुका मिश्रा को हटाया गया था। इस मामले में लगातार एक्शन जारी है। अब तक कई लोगों को उठाया जा चुका है। दूसरे राज्यों से भी आरोपियों को पकड़ा जा रहा है।
एसटीएफ का एक्शन जारी
आरोपियों में मुख्य आरोपी राजीव मिश्रा और रवि अत्री ने ही दिल्ली पुलिस के सिपाही विक्रम पहल को पेपर दिया था। राजीव मिश्रा और रवि अत्री के नेटवर्क से जुड़े अभिषेक शुक्ला ने पेपर ट्रांसपोर्ट करने वाली कंपनी के दो कर्मचारियों से पुलिस भर्ती का पेपर निकलवाया था। गुरुग्राम में 1000 अभ्यर्थियों को रिसॉर्ट में इकट्ठा कर पेपर से 2 दिन पहले अभ्यार्थियों को पेपर की तैयारी करने वाले नेटवर्क से ये लोग सीधे जुड़े हैं। जिनमें दिल्ली पुलिस का सिपाही विक्रम पहल, राजीव मिश्रा, रवि अत्री और अभिषेक शुक्ला शामिल हैं।
हरियाणा के जींद से भी हुई गिरफ़्तारी
13 मार्च को यूपी एसटीएफ ने हरियाणा के जींद जिले से पेपर लीक मामले से जुड़े महेंद्र शर्मा को गिरफ्तार किया था। महेंद्र के खिलाफ मेरठ के कंकरखेड़ा थाने में केस दर्ज करकर उसे जेल भेज दिया गया है। आरोपी महेंद्र शर्मा से पूछताछ में पुलिस को पता चला कि परीक्षा से दो दिन पहले यानी कि 15 फरवरी को दिल्ली पुलिस का विक्रम पहल महेंद्र शर्मा को गुरुग्राम के मानेसर में स्थित रिजॉर्ट में लेकर आया था। इसी रिजॉर्ट में पहले से 400 उम्मीदवार मौजूद थे। इसके अलावा गौरव चौधरी 10-12 बसों में बाकी परीक्षार्थियों को लेकर रिजॉर्ट पहुंचा था। विक्रम पहल ने पेपर लीक मामले में महेंद्र शर्मा से मदद मांगी थी। इसके बदले उसने महेंद्र को दो लाख रुपये देने का वादा किया था। विक्रम पहल ने रिजॉर्ट में इकट्ठा हुए करीब 1000 परीक्षार्थियों को बुलाकर मीटिंग की थी। 16 फरवरी को दिन में 11:00 बजे ही विक्रम पहल अपने साथियों के साथ 18 फरवरी की दूसरी पाली का प्रश्न पत्र और आंसर की लेकर रिजॉर्ट में पहुंच गया था। विक्रम पहल, अभिषेक शुक्ला और रवि नामक व्यक्ति ने मिलकर परीक्षा से पहले ही दिल्ली में यूपी पुलिस भर्ती का पेपर आउट करने और ज्यादा से ज्यादा अभ्यर्थियों को गुरुग्राम के रिजॉर्ट में इकट्ठा का पेपर पढ़वाने की प्लानिंग कर रहा था।
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