अर्जुन अवार्डी स्वीटी बूरा ने कबड्डी खिलाड़ी पति दीपक हुड्डा पर मारपीट व दहेज प्रताड़ना का करवाया केस दर्ज

बॉक्सर स्वीटी बूरा अपनी मां सुरेश कुमारी व पति दीपक हुड्डा के साथ।
नरेन्द्र सहारण, रोहतक/हिसार : देश के जाने-माने कबड्डी खिलाड़ी दीपक हुड्डा और उनकी पत्नी स्वीटी बूरा के बीच हाल ही में विवाद ने एक गंभीर मोड़ ले लिया है। इस विवाद की शुरुआत तब हुई जब स्वीटी ने अपने पति दीपक के खिलाफ मारपीट और दहेज प्रताड़ना की एफआईआर हिसार के महिला थाना में दर्ज करवाई। इसके बाद दीपक ने भी अपनी पत्नी स्वीटी और उनके परिवार के खिलाफ धोखाधड़ी की शिकायत रोहतक एसपी को दी है। स्वीटी का मां सुरेश का आरोप है कि दामाद दीपक हुड्डा उनकी बेटी को बेरहमी से पीटता था। दामाद बेटी की प्रॉपर्टी को हड़पना चाहता है। वहीं, स्वीटी बूरा का आरोप है उनका पति दीपक हुड्डा उन्हें कमरे में बंद कर प्रताड़ित करता था।
दंपति की व्यक्तिगत बातें
स्वीटी बूरा ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि पति दीपक ने उसे कई बार शारीरिक और मानसिक प्रताड़ना दी। स्वीटी का कहना है कि दीपक उसे कमरे के अंदर बंद करके पीटने के साथ-साथ सार्वजनिक स्थानों पर भी टॉर्चर करता था। यहां तक कि एक बार टोल प्लाजा पर भी उन्होंने उसके साथ मारपीट की। स्वीटी के अनुसार, वह अब अपने पति के साथ सहमकर रहती है, क्योंकि दीपक के व्यवहार ने उसे मानसिक तौर पर काफी प्रभावित किया है।
आरोपों को निराधार बताया
दूसरी ओर, दीपक ने अपने खिलाफ लगाए गए सभी आरोपों को निराधार बताया है। उन्होंने कहा, “यह हमारा पारिवारिक मामला है। मेरी पत्नी मेरे लिए सर्वोपरि है। दो-चार दिन में सब ठीक हो जाएगा।” दीपक का यह बयान स्पष्ट करता है कि वह इस मुद्दे को निजी रूप में हल करना चाहते हैं, लेकिन यह बात कहीं और बढ़ती जा रही है।
पुलिस की कार्रवाई
इस मामले में, महिला थाना पुलिस ने स्वीटी बूरा की शिकायत पर जांच शुरू कर दी है। स्वीटी ने पति से तलाक लेने के लिए भी कोर्ट में याचिका दायर की है और साथ ही भत्ता भी मांगा है। वही, दीपक ने अपनी शिकायत में कहा है कि स्वीटी और उसके स्वजन ने धोखाधड़ी करके उसके लाखों रुपये हड़प लिए हैं और अब वे उसकी सम्पत्ति पर नजर गड़ाए हुए हैं।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, दीपक की शिकायत पर अभी तक केस दर्ज नहीं किया गया है, लेकिन प्राथमिक जांच जारी है। एसपी नरेंद्र बिजारणिया के अनुसार, “जांच के बाद ही आगामी कार्रवाई की जाएगी।”
चुनावी माहौल
दीपक हुड्डा, जो भाजपा के नेता भी हैं, ने हाल ही में महम सीट से विधानसभा चुनाव लड़ने की कोशिश की थी। उन्हें चुनाव में हार का सामना करना पड़ा। जबकि स्वीटी बूरा भी बरवाला सीट से टिकट मांगने की तैयारी कर रही थी। चुनावी माहौल में यह विवाद और भी जटिल हो गया है, क्योंकि दोनों ही खिलाड़ी एक-दूसरे के राजनीतिक जीवन में भी सक्रिय हिस्सा लेते रहे हैं।
सामान्य जनमानस पर प्रभाव
इस विवाद ने न केवल इनके व्यक्तिगत जीवन को प्रभावित किया है बल्कि देश के कबड्डी प्रेमियों के बीच भी चर्चा का विषय बना हुआ है। लोग इस दंपति के खेल कौशल की प्रशंसा करते हैं, लेकिन अब उनकी पारिवारिक जीवन में इस तरह के विवाद ने उनके आदर्श छवि को धूमिल कर दिया है।
नतीजा
जहां पर दीपक और स्वीटी के बीच यह विवाद खत्म होता है, यह तो समय ही बताएगा। लेकिन यह स्पष्ट है कि यह मामला न केवल एक व्यक्तिगत विवाद है, बल्कि इसके पीछे गहरे सामाजिक, आर्थिक और भावनात्मक पहलू भी हैं। कबड्डी जैसे खेल में पहचान बनाने के बाद इन दोनों खिलाड़ियों को एक सही दिशा में स्थिर रहना चाहिए ताकि उनके जीवन के अन्य पहलू प्रभावित ना हों।
इस मामले का विस्तार से अनुसरण किया जाएगा, क्योंकि यह न केवल उनके जीवन का मामला है बल्कि यह भारतीय खेल जगत और उसके आसपास की राजनीति का भी एक महत्वपूर्ण मोड़ है। समय के साथ, हम देखेंगे कि यह विवाद कैसे समाप्त होता है और क्या भविष्य में कुछ सकारात्मक परिणाम निकलता है। श्री दृस्मति की यह स्थिति सभी के लिए एक सीख है कि व्यक्तिगत जीवन का गहरा प्रभाव खेल और पेशेवर जीवन पर भी पड़ सकता है।
जीवन में सही संतुलन बनाएं
आज के समय में जब सामाजिक मीडिया और तकनीकी विकास ने दुनिया को एक छोटे काकुल में समेट दिया है, ऐसे मामलों की सार्वजनिक चर्चा होती है। दोनों खिलाड़ियों को चाहिए कि वे इस मामले को समझदारी से सुलझाएं और अपने कैरियर को आगे बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित करें। उनकी विवादित कहानी शायद नेशनल मीडिया में सुर्खियों में रहे, लेकिन सबसे महत्वपूर्ण है कि वे अपने व्यक्तिगत और पेशेवर जीवन में सही संतुलन बना सकें।