Bhadohi News: प्रिंसिपल हत्याकांड के शूटर को एनकाउंटर में गोली मारी, पिता की हत्या का बदला लेने के लिए कराया मर्डर

भदोही, बीएनएम न्यूजः भदोही में इंटर कॉलेज के प्रिंसिपल योगेंद्र बहादुर सिंह की हत्या में वांटेड दो शूटर्स से पुलिस की मुठभेड़ हो गई। एनकाउंटर में एक शूटर के पैर में गोली लगी। जबकि मौके से भाग रहे उसके साथी को पीछा करके पुलिस ने पकड़ लिया। मंगलवार को पुलिस ने प्रिंसिपल हत्याकांड का खुलासा किया था।
पुलिस ने बताया था कि प्रिंसिपल हत्याकांड का मास्टरमाइंड गौरव सिंह है। उसने 27 साल पहले हुई अपने पिता की हत्या का बदला लेने के लिए प्रिंसिपल योगेंद्र बहादुर की शूटर से हत्या करवाई। पूरी डील 5 लाख रुपए में तय हुई थी। पुलिस ने गौरव और एक शूटर कलीम को कल गिरफ्तार कर लिया था। जबकि, वारदात में शामिल बाकी दो शूटर को बुधवार को गिरफ्तार कर लिया।
अपर पुलिस अधीक्षक तेजवीर सिंह ने बताया कि गिरफ्तार किए गए शूटर का नाम शकील और आशीष उर्फ भोले है। दोनों प्रयागराज के रहने वाले हैं। मंगलवार को गिरफ्तार शूटर कलीम ने इन दोनों को नाम बताया था। इसके बाद पुलिस उनकी गिरफ्तारी का प्रयास कर रही थी।
बुधवार तड़के भदोही के दुर्गागंज थाना क्षेत्र में पुलिस चेकिंग कर रही थी, तभी दोनों शूटर बाइक से जा रहे थे। पुलिस टीम ने रोकने की कोशिश की तो उन्होंने पुलिस पर फायरिंग कर दी। जवाबी फायरिंग में शकील के पैर में गोली लगी है। उसे दुर्गागंज सीएचसी में भर्ती कराया गया है। दोनों शूटर पर 25-25 हजार का इनाम था। इनके पास बिना नंबर प्लेट की बाइक, अवैध तमंचा बरामद किया गया है।
21 अक्टूबर को हुई थी प्रिंसिपल की हत्या
भदोही में 21 अक्टूबर को इंद्र बहादुर सिंह नेशनल इंटर कॉलेज के प्रिंसिपल योगेंद्र बहादुर सिंह (55) की हत्या कर दी गई थी। वारदात के दिन सुबह करीब 9.30 बजे वह ड्राइवर के साथ कार से अमिलोरी गांव स्थित अपने घर से कॉलेज जा रहे थे। प्रिंसिपल के साथ कार में मौजूद ड्राइवर संतोष ने बताया था- प्रिंसिपल अपने घर से 700 से 800 मीटर की दूरी पर बसवानपुर गांव पहुंचे थे। इस बीच अपाचे बाइक पर सवार दो युवक हाथ में मोबाइल लिए सामने से आते दिखाई दिए। हमलावरों ने कार को हाथ देकर रुकवाया।
कार रोकी तो हमलावरों ने शीशा नीचे करके मोबाइल लेने की बात कही। शीशा बंद होने के चलते उनकी आवाज सुनाई नहीं दी। प्रिंसिपल ने जैसे ही कार का शीशा खोला, दोनों हमलावरों ने हथियार निकाल कर उन पर अंधाधुंध फायरिंग की। हमलावरों ने 10 गोलियां चलाईं। 5 प्रिंसिपल को लगीं। कार के अंदर मौके पर ही उनकी मौत हो गई।
ऐसे हुआ प्रिंसिपल हत्याकांड का खुलासा
पुलिस ने हत्याकांड की जांच शुरू की। 5 टीमें बनाईं। स्कूल से लेकर परिवार और पड़ोसियों से बातचीत की। लेकिन, हत्या की कोई वजह नहीं मिल पा रही थी। इसके बाद पुलिस ने जिस दिशा में शूटर्स भागे थे, उधर 80 किमी में 200 CCTV फुटेज खंगाले। एक फुटेज में पुलिस को शूटर की फोटो मिल गई।
पुलिस टीम ने प्रयागराज और आसपास के जिलों में मुखबिर एक्टिव किए। फोटो किसकी है? इसका पता लगवाया। पुलिस एक शूटर कलीम तक पहुंच गई। इसके बाद मास्टरमाइंड सौरभ तक…और हत्याकांड का खुलासा हुआ।
पुलिस अधीक्षक ने क्या कहा
पुलिस अधीक्षक डॉ. मीनाक्षी कात्यायन ने अनुसार अमिलौरी निवासी योगेन्द्र बहादुर सिंह की हत्या के बाद पांच टीमों का गठन किया गया था। टीमें जौनपुर, प्रयागराज और प्रतापगढ़ जैसे जिलों में दबिश देकर हत्यारों की सुराग तलाश रही थी। पुलिस टीम ने घटनास्थल और मृतक प्रधानाचार्य के घर जाने वाले सीसी कैमरों की निगरानी की।
जिससे अहम सुराग हाथ लगे। साक्ष्यों के आधार पर पुलिस ने घटना में शामिल मास्टरमाइंड सौरभ सिंह निवासी चिल्ला शिवकुटी, प्रयागराज के साथ उसके दोस्त मो. कलीम निवासी रूदापुर, फाफामऊ प्रयागराज को वाराणसी-प्रयागराज हाईवे पर चकपड़वना के पास से गिरफ्तार किया।
हत्या का मास्टरमाइंड सौरभ सिंह
हत्या का मास्टरमाइंड सौरभ सिंह 1997 में इन्द्र बहादुर सिंह नेशनल इंटर कॉलेज के प्रवक्ता स्व. अजय बहादुर सिंह का पुत्र है। 1997 में नियुक्ति के कुछ ही दिन बाद उनकी हत्या कर दी गयी थी। पुलिस की पूछताछ में कई अहम सुराग हाथ लगे। हत्या के मास्टरमाइंड सौरभ सिंह ने बताया कि उसने अपनी पिता की हत्या का बदला लेने के लिए घटना को अंजाम दिया। एसपी ने बताया कि घटना के एक महीने पहले से प्रधानाचार्य की दो वाहनों से रेकी की जा रही थी। जिसमें एक वाहन हत्या के मास्टरमाइंड सौरभ की थी।